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क्राइम

उत्तर प्रदेश में 24 घंटे में 13 हत्याओं ने मचाया हड़कंप

उत्तर प्रदेश में 24 घंटे में 13 हत्याओं ने मचाया हड़कंप

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में कानून-व्यवस्था की स्थिति पर एक बार फिर सवाल उठ रहे हैं। पिछले 24 घंटों में राज्य के विभिन्न हिस्सों में 13 हत्याओं की वारदातों ने पूरे प्रदेश को दहला दिया है। गाजियाबाद, जौनपुर, हापुड़, फिरोजाबाद और अन्य जिलों में हुई इन घटनाओं ने पुलिस और प्रशासन की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं।

क्या हुआ पिछले 24 घंटों में?
– गाजियाबाद: एक पुलिसकर्मी की चाकू मारकर बेरहमी से हत्या। हमलावरों ने रात के अंधेरे में वारदात को अंजाम दिया और फरार हो गए। पुलिस ने जांच शुरू की है, लेकिन अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है।
जौनपुर: एक ही परिवार के तीन लोगों की गोली मारकर हत्या। स्थानीय लोगों के अनुसार, पुरानी रंजिश इस तिहरे हत्याकांड की वजह हो सकती है।
– हापुड़: एक कुख्यात हिस्ट्रीशीटर को अज्ञात हमलावरों ने गोलियों से भून डाला। पुलिस इसे गैंगवार से जोड़कर देख रही है।
फिरोजाबाद: एक ग्राम प्रधान और उनके बेटे की हत्या ने इलाके में सनसनी फैला दी। हमलावरों ने दोनों को घर में घुसकर मारा।
अन्य जिले: बाकी हत्याएं मुरादाबाद, बस्ती, और अन्य जिलों में हुईं, जिनमें व्यक्तिगत रंजिश, प्रॉपर्टी विवाद, और आपसी झगड़ों को कारण बताया जा रहा है।

इन 13 हत्याओं ने न केवल स्थानीय लोगों में दहशत पैदा की है, बल्कि सोशल मीडिया पर भी कानून-व्यवस्था को लेकर गर्मागर्म बहस छिड़ गई है। [](https://x.com/ndtvindia/status/1926926240063037528)

क्यों बढ़ रहा है अपराध?
पुलिस सूत्रों के अनुसार, इन हत्याओं के पीछे कई कारण हो सकते हैं:
1. पुरानी रंजिश: ज्यादातर मामलों में व्यक्तिगत दुश्मनी या पारिवारिक विवाद सामने आए हैं।
2. गैंगवार: हापुड़ और गाजियाबाद जैसे इलाकों में आपराधिक गिरोहों की सक्रियता बढ़ी है।
3. कमजोर पुलिसिंग: कुछ लोग मानते हैं कि पुलिस की लापरवाही और अपराधियों में कानून का डर खत्म होना इन घटनाओं का कारण है।
4. सामाजिक तनाव: प्रॉपर्टी विवाद और जातिगत तनाव भी कई हत्याओं की जड़ में हैं।

सोशल मीडिया पर हंगामा
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर इन हत्याओं को लेकर तीखी प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं। आम आदमी पार्टी ने एक पोस्ट में योगी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, “मुख्यमंत्री कहते हैं कि अपराधी जेल में हैं या प्रदेश छोड़ चुके हैं, लेकिन 24 घंटे में 13 मर्डर बता रहे हैं कि बीजेपी सरकार झूठ बोल रही है।” (https://x.com/ndtvindia/status/1926926240063037528)

वहीं, ABP न्यूज ने अपने X पोस्ट में लिखा, “24 घंटे में 14 हत्याएं! यूपी में कानून का डर या अपराधियों का राज?”। कई यूजर्स ने इसे “जंगलराज” करार दिया, जबकि कुछ ने योगी सरकार के “ठोक दो” नारे पर तंज कसा। [](https://x.com/ABPNews/status/1926996059537994082)

पुलिस और सरकार का रुख
उत्तर प्रदेश पुलिस ने इन हत्याओं को गंभीरता से लेते हुए जांच तेज कर दी है। कई जिलों में विशेष टीमें गठित की गई हैं, और सीसीटीवी फुटेज व अन्य तकनीकी साक्ष्यों की मदद से अपराधियों की तलाश की जा रही है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में अपराध के खिलाफ सख्ती बरतने का दावा किया था। NDTV इंडिया की एक पोस्ट के अनुसार, “योगी सरकार ने बदमाशों को चुनौती देने की बात कही है, लेकिन 13 मर्डर केस ने पुलिस को कटघरे में खड़ा कर दिया।”

क्या कहते हैं आंकड़े?
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) की 2024 की रिपोर्ट के अनुसार, उत्तर प्रदेश में प्रति व्यक्ति अपराध दर 7.4 है, जो देश में सबसे ज्यादा है। चोरी, सांप्रदायिक तनाव, और हिंसक अपराधों के मामले में यूपी शीर्ष पर है। इन ताजा हत्याओं ने इस आंकड़े को और गंभीर बना दिया है।

जनता में डर का माहौल
इन घटनाओं ने स्थानीय लोगों में भय और असुरक्षा की भावना को बढ़ा दिया है। गाजियाबाद के एक निवासी ने कहा, “जब पुलिसवाले ही सुरक्षित नहीं, तो आम आदमी का क्या होगा?” वहीं, जौनपुर में लोग सड़कों पर उतरकर प्रशासन के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं।

आगे क्या?
इन हत्याओं ने उत्तर प्रदेश में कानून-व्यवस्था की स्थिति को लेकर एक बार फिर बहस छेड़ दी है। विशेषज्ञों का मानना है कि पुलिस सुधार, तेज जांच, और कठोर सजा ही अपराध की रोकथाम कर सकती है। साथ ही, सामाजिक जागरूकता और विवादों के शांतिपूर्ण समाधान पर भी जोर देने की जरूरत है।

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