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नोएडा: 8 करोड़ रुपए का प्रतिबंधित मांस पकड़ा गया, बड़े सप्लायरों का भंडाफोड़
नोएडा।
उत्तर प्रदेश के नोएडा में पुलिस ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए 8 करोड़ रुपए का प्रतिबंधित मांस जब्त किया है। यह मांस स्थानीय कोल्ड स्टोरेज में रखा गया था और इसकी सप्लाई के लिए एक संगठित गिरोह काम कर रहा था। पुलिस ने इस मामले में पांच लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें हर क्षेत्र के लोग शामिल हैं।
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान:
1. पूरन जोशी: कोल्ड स्टोरेज का मालिक, जिसने प्रतिबंधित मांस को रखने और सप्लाई करने की सुविधा दी।
2. मोहम्मद खुर्शिदुन नबी: गिरोह का प्रमुख सदस्य, मांस की खरीद-फरोख्त और डिलीवरी का मुख्य जिम्मेदार।
3. अक्षय सक्सेना: स्थानीय नेटवर्क को मैनेज करने और सप्लाई चैन को नियंत्रित करने में शामिल।
4. शिव शंकर: मांस की पैकिंग और डिस्ट्रीब्यूशन का काम संभालता था।
5. सचिन: सप्लाई का मुख्य ड्राइवर और वितरण का जिम्मेदार।
कोल्ड स्टोरेज बना अवैध धंधे का अड्डा:
पुलिस की जांच में खुलासा हुआ कि प्रतिबंधित मांस को पूरन जोशी के कोल्ड स्टोरेज में रखा जाता था। जोशी को इस धंधे में कोई खास परहेज नहीं था क्योंकि इसमें मोटा मुनाफा है। मोहम्मद खुर्शिदुन नबी इस नेटवर्क का मुख्य मास्टरमाइंड था, जो राज्य के अलग-अलग हिस्सों में सप्लाई का नेटवर्क चला रहा था।
कैसे हुआ खुलासा?
पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि नोएडा के एक कोल्ड स्टोरेज में बड़ी मात्रा में प्रतिबंधित मांस रखा गया है। इसके बाद छापेमारी की गई, जिसमें 8 करोड़ रुपए के मांस के अलावा अन्य आपत्तिजनक सामग्री भी बरामद की गई।
कानूनी कार्रवाई:
गिरफ्तार सभी आरोपियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता और पशु क्रूरता अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया है। पुलिस अब यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि प्रतिबंधित मांस की सप्लाई कहां-कहां हो रही थी और इस गिरोह से जुड़े अन्य लोग कौन-कौन हैं।
मामले की गंभीरता:
नोएडा जैसे विकसित क्षेत्र में इस तरह के अवैध कारोबार का खुलासा कानून-व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े करता है। इस मामले ने दिखा दिया कि मोटे मुनाफे की लालच में कुछ लोग किसी भी हद तक जा सकते हैं।
पुलिस की अपील:
नोएडा पुलिस ने आम जनता से अपील की है कि अगर उन्हें कहीं भी इस तरह की गतिविधियों की जानकारी मिलती है तो तुरंत पुलिस को सूचित करें। पुलिस ने यह भी आश्वासन दिया है कि इस तरह के अवैध कारोबार को जड़ से खत्म किया जाएगा।
(यह कार्रवाई समाज में हो रहे अपराधों के खिलाफ एक सख्त संदेश है कि कानून से बड़ा कोई नहीं।)