उत्तराखण्ड
महिला सुरक्षा पर सरकार नाकाम: रामनगर में महिलाओं का विरोध प्रदर्शन
रामनगर: देश में बढ़ते अपराध और महिलाओं के खिलाफ हो रहे अत्याचारों के विरोध में आज ग्राम वासीटीला और ग्राम सांवल्दे में महिला एकता मंच द्वारा जोरदार प्रदर्शन किया गया। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन और महिला एकता मंच के बैनर तले सैकड़ों महिलाएं सड़क पर उतरीं, और संचार माध्यमों तथा सोशल मीडिया पर अश्लीलता और पोर्नोग्राफी के बढ़ते प्रसार पर तुरंत रोक लगाने की मांग उठाई।
महिलाओं ने लैंगिक समानता को शिक्षा का हिस्सा बनाने, न्यायपालिका, कार्यपालिका, विधायिका और सुरक्षा बलों को महिलाओं के प्रति अधिक संवेदनशील बनाने और उन्हें वास्तविक सामाजिक, राजनीतिक, और आर्थिक समानता प्रदान करने की मांग की।
वक्ताओं ने भाजपा सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि यह सरकार बलात्कारियों को संरक्षण देने में लगी हुई है। राम रहीम, जो बलात्कार के अपराध में सजा काट रहा है, को बार-बार जेल से पैरोल पर छोड़ा जा रहा है। इसके अलावा, सल्ट और लालकुआं जैसी घटनाओं में भी भाजपा नेताओं के नाम सामने आए हैं, जो महिलाओं की सुरक्षा पर सरकार की मंशा पर सवाल खड़ा करते हैं।
महिला एकता मंच की संयोजक ललिता रावत ने अपने संबोधन में कहा, “आज देश में हर गली-मोहल्ले में महिलाएं असुरक्षित महसूस कर रही हैं। जब सरकारी एजेंसियां हमारी सुरक्षा करने में असफल हो गई हैं, तो अब हमें खुद अपनी सुरक्षा के लिए सड़कों पर उतरना होगा।”
कार्यक्रम में भाग लेने वाली सैकड़ों महिलाओं ने यह स्पष्ट संदेश दिया कि अब चुप्पी साधने का समय नहीं है। प्रमुख रूप से गीता, सरस्वती जोशी, तुलसी छिंबाल, ग्राम प्रधान गंगा गोस्वामी, माया नेगी, कौशल्या चुनियाल, और अन्य ने भी इस आंदोलन को मजबूती से समर्थन दिया।
सरकार की निष्क्रियता और महिलाओं की सुरक्षा के प्रति असंवेदनशीलता को लेकर यह प्रदर्शन आने वाले दिनों में और उग्र रूप ले सकता है।