उत्तराखण्ड
कृषि कानूनों के खिलाफ आन्दोलित अन्नदाताओं के समर्थन में आगे आए लोग,बंद का रहा मिलाजुला असर।
रामनगर(नैनीताल)संयुक्त किसान मोर्चा के आव्हान पर देशव्यापी बंद का रामनगर क्षेत्र में भी व्यापक असर रहा। संयुक्त किसान मोर्चा से जुड़े संगठनों एवं कार्यकर्ताओं ने सुबह से ही रामनगर, मालधन, पीरुमदारा तथा आसपास के बाजारों को बंद रखने के लिए व्यापक तौर पर जनसंपर्क किया।
तीनों काले कृषि कानूनों को रद्द किए जाने,पेट्रोल, डीजल व रसोई गैस के दाम आधे किए जाने तथा श्रमिक विरोधी नए लेबर कोड निरस्त किए जाने की मांग को लेकर दिन में 11:00 बजे से किसानों ने रामनगर शहर में जुलूस भी निकाला ।
इस दौरान लखनपुर में आयोजित सभा में वक्ताओं ने कहा कि किसान आंदोलन को आज 10 माह से भी अधिक समय हो चुका है अब यह आंदोलन मात्र किसानों का नहीं है बल्कि यह हर उस व्यक्ति का आंदोलन बन चुका है जो जिंदा रहने के लिए रोटी खाता है। वक्ताओं ने कहा कि यह तीनों काले कृषि कानून देश के कारपोरेट घरानों तथा बहुराष्ट्रीय निगमों को लूट की खुली छूट देने के लिए लाए गए हैं । सरकार ने उन्हें इन कानूनों के माध्यम से जमाखोरी कालाबाजारी तथा ठेकेदारी की खुली छूट दे दी है।
वक्ताओं ने कहा कि केंद्र व राज्य सरकारें मिलकर डीजल व पेट्रोल पर 200% से भी अधिक टैक्स वसूल रही हैैं। कुकिंग गैस की बढ़ती कीमतों ने आम आदमी की कमर तोड़ दी है।
वक्ताओं ने कहा कि सरकार ने श्रमिकों को मिले नाममात्र के अधिकार भी श्रम कानूनों को खत्म कर छीन लिए हैं। 38 श्रम कानूनों को खत्म कर बनाए गए 4 लेबर कोड में पूंजीपतियों को मजदूरों से 8 घंटे की जगह 12 घंटे तक काम लेने का अधिकार दे दिया गया है जो कि देश के श्रमिकों के हितों पर कुठाराघात है ।
मोदी सरकार द्वारा पारित इन तीनों कृषि बिलों पर आज के ही दिन राष्ट्रपति ने हस्ताक्षर किए थे।नये कृषि बिलों को काला कानून बताते हुए किसान सरकार से इसे वापस लेने की मांग को लेकर आन्दोलित हैं।
रामनगर में बंद का मिला जुला असर रहा।भाजपा समर्पित व्यापारियों ने अपने प्रतिष्ठान खुले रखे।किसानों के इस आन्दोलन में आज कई लोग उनके समर्थन में सड़कों पर उतरे। कई राजनीतिक दलों और संगठनों की किसानों के आज भारत बंद का समर्थन किया।शहीद भगत सिंह चौक भवानी गंज में कांग्रेस के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष रणजीत सिंह रावत ने कांग्रेसी कार्यकर्ताओ के साथ किसानों के प्रदर्शन में शामिल होकर उनका साथ दिया।